स्कूल के छात्र-छात्राओं को किया गया जागरूक साइबर सुरक्षा
छत्तीसगढ़ राज्य के बालोद जिले में बच्चों और युवाओं में बढ़ते साइबर अपराध, नशीली दवाओं की लत और उनके कानूनी अधिकारों के प्रति जागरूकता की आवश्यकता को देखते हुए, बालोद पुलिस द्वारा लगातार सकारात्मक कदम उठाए जा रहे हैं। पुलिस महानिदेशक श्री योगेश कुमार पटेल के नेतृत्व में चलाए जा रहे इस जन जागरूकता अभियान के क्रम में, स्वामी आत्मानंद शासकीय अंग्रेजी माध्यम विद्यालय, आमापारा, बालोद में एक विशेष जागरूकता कार्यक्रम का आयोजन किया गया।
अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक श्रीमती मोनिका ठाकुर के निर्देशन और एसडीओपी श्री देवांश सिंह राठौर के मार्गदर्शन में इस कार्यक्रम की सफलता में महत्वपूर्ण भूमिका रही। थाना प्रभारी श्री शिशुपाल सिन्हा और उनकी टीम के साथ, कार्यक्रम तीन महत्वपूर्ण विषयों पर केंद्रित था - साइबर सुरक्षा, बच्चों के विरुद्ध उल्लंघन और उनके अधिकारों के प्रति जागरूकता, और नशामुक्ति अभियान।
साइबर जागरूकता डिजिटल युग में सुरक्षित रहने की सीख
कार्यक्रम के पहले सत्र में एसडीओपी देवांश सिंह राठौर ने छात्रों को डिजिटल दुनिया में सुरक्षित रहने के उपायों के बारे में बताया। उन्होंने बताया कि आज के समय में इंटरनेट का इस्तेमाल जितना फायदेमंद है, उतना ही खतरनाक भी है, खासकर बच्चों और युवाओं के लिए। सोशल मीडिया, ऑनलाइन गेमिंग, अज्ञात लिंक पर क्लिक करना, ओटीपी और कमजोर पासवर्ड शेयर करना - ये सभी साइबर अपराधों को बढ़ावा देते हैं।
उन्हें बताया गया कि कैसे धोखेबाज सोशल मीडिया के ज़रिए बच्चों को निशाना बनाते हैं और कैसे वे उनके जाल में फँसकर अपनी निजी जानकारी साझा करते हैं। छात्रों को बताया गया कि वे सुरक्षित पासवर्ड रखें, किसी भी अज्ञात लिंक पर क्लिक न करें, ओटीपी या बैंकिंग संबंधी जानकारी साझा न करें और अगर कोई साइबर अपराध का शिकार हो जाए तो 1930 पर कॉल करके या www.cybercrime.gov.in पर शिकायत दर्ज कराएँ।
बच्चों के विधिक अधिकार और सुरक्षा से जुड़ी जानकारी
कार्यक्रम के दूसरे चरण में, थाना प्रभारी शिशुपाल सिन्हा ने बच्चों को उनके कानूनी अधिकारों के बारे में विस्तृत जानकारी दी। उन्होंने बताया कि किशोर न्याय अधिनियम, बाल अधिकारों की सुरक्षा और निःशुल्क कानूनी सहायता भी प्रदान की जाती है। कानूनी सहायता जैसे कई कानून हैं जो बच्चों को विशेष सुरक्षा प्रदान करते हैं।
छात्रों को बताया गया कि अगर कोई बच्चा किसी भी अपराध का शिकार होता है या किसी और के साथ कुछ गलत होते देखता है, तो वह कानून से उचित सहायता ले सकता है। उन्होंने बाल अधिकारों पर भी चर्चा की। उन्होंने शिक्षा, स्वास्थ्य, सुरक्षा, सम्मान और विकास को महत्वपूर्ण बताया और कहा कि कानून सभी को अधिकार देता है, चाहे वह बच्चा हो या वयस्क।
छात्रों में अपने अधिकारों के प्रति जागरूक रहने, किसी भी मामले में चुप न रहने तथा आवश्यकता पड़ने पर उचित स्रोतों से सहायता लेने का विश्वास पैदा करना।
नशामुक्ति अभियान नशा मुक्त भारत की ओर
कार्यक्रम के अंतिम सत्र में, कल्याणी समाज कल्याण एवं अनुसंधान संगठन, भिलाई के अजय कल्याणी द्वारा नशामुक्ति पर एक विशेष सत्र का संचालन किया गया। उन्होंने छात्रों को नशीली दवाओं की लत के कारणों, प्रभावों और दुष्प्रभावों से अवगत कराया। उन्होंने कहा कि नशीली दवाओं की लत न केवल व्यक्ति के शारीरिक और मानसिक स्वास्थ्य को प्रभावित करती है, बल्कि उसके पारिवारिक, सामाजिक और शैक्षिक जीवन को भी बर्बाद कर देती है। नशीली दवाओं की लत अपराध, पारिवारिक हिंसा, बेरोजगारी और दुर्घटनाओं का एक प्रमुख कारण बन गई है।
अजय कल्याणी ने छात्रों को नशे से दूर रहने, सकारात्मक जीवनशैली अपनाने और योग, खेलकूद व ध्यान पर ध्यान केंद्रित करने के लिए प्रेरित किया। अंत में, सभी छात्रों को नशा न करने और दूसरों को भी इसके प्रति जागरूक करने की शपथ दिलाई गई।
विद्यालय प्रशासन और छात्रों की प्रतिक्रिया
इस आयोजन की स्कूल प्रशासन और विद्यार्थियों ने भरपूर सराहना की। स्कूल की प्रधानाचार्या श्रीमती लीनू तुली सहित शिक्षिकाओं और विद्यार्थियों ने कार्यक्रम में पूरे मनोयोग से भाग लिया। बालोद पुलिस के इस कार्य की सराहना करते हुए उन्होंने कहा कि इस तरह के कार्यक्रम विद्यार्थियों के मानसिक और नैतिक विकास के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण हैं। विद्यार्थियों ने न केवल कार्यक्रम में सक्रिय रूप से भाग लिया, बल्कि प्रश्नोत्तर के माध्यम से कई आधुनिक बातें भी सीखीं। उन्होंने इस बात पर ज़ोर दिया कि एक जागरूक नागरिक बनने के लिए केवल किताबी शिक्षा नहीं, बल्कि व्यावहारिक ज्ञान और समाज के प्रति कर्तव्यनिष्ठा आवश्यक है।
समाज निर्माण की दिशा में एक सशक्त पहल
बालोद पुलिस का यह कार्यक्रम सिर्फ़ एक औपचारिक आयोजन नहीं था, बल्कि समाज में सकारात्मक बदलाव लाने की दिशा में एक ठोस कदम था। पुलिस महानिदेशक श्री योगेश कुमार पटेल ने स्पष्ट किया है कि यह अभियान क्षेत्र के अन्य स्कूलों और ग्रामीण अंचलों में भी जारी रहेगा। उनका उद्देश्य नशामुक्त, सुरक्षित और जागरूक समाज का निर्माण करना है।
इस अवसर पर साइबर सेल और थाना बालोद से आरक्षक गुलज़ारी साहू, मनीष ठाकुर, रविकांत गंधर्व, मोहन कोकिला, और चेतन सोनकर भी उपस्थित रहे। इन सभी की सहभागिता से कार्यक्रम सफल और प्रभावशाली रहा